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Showing posts from October, 2021

दुनिया में सबसे अज़ीम शख्सियत ‎ ‎मुहम्मदصلى الله عليه وسلم ‎ ‎ ‎ ‎ ‎ ‎ ‏

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अमेरिकी साइंसदा और लेखक माइकल हार्ट ने दुनिया के 100 सबसे अज़ीम और प्रभावशाली शख्सियात की लिस्ट बनाई जिन्होंने ने इतिहास के धारे को बदल कर रख दिया  इस पर रिसर्च करने और इस लिस्ट को बनाने में उसे 28 साल का वक़्त लगा --इसमें उसने मुहम्मद ﷺ को पहले स्थान पर रखा -- एक दिन जब वह लंदन में लेक्चर दे रहा था तो मजमे ने सीटियों और शोर के जरिये उसकी बात को काटना चाहा  ताकि वह अपनी बात मुकम्मल न कर सके--- फिर उसने कहना शुरू किया:             "एक आदमी छोटी सी बस्ती मक्का मे खड़े होकर लोगों से कहता है "मैं अल्लाह का रसूल हूँ " मैं इस लिये आया हूँ कि तुम्हारे स्वभाव और आदत को बेहतर बना सकूँ तो उसकी इस बात पर सिर्फ चार लोग ईमान लाते हैं जिसमें उनकी बीवी एक दोस्त और दो बच्चे शामिल थे--- अब उसको चौदह सौ साल गुज़र चुके हैं ज़माने के साथ साथ उसके फॉलोवर्स की तादाद डेढ़ अरब पार कर चुकी है और हर आने वाले दिन में इज़ाफ़ा हो रहा है यह मुमकिन नही कि वह शख्स झूठा हो क्यों कि चौदह सौ साल झूठ का ज़िन्दा रहना मुहाल है और किसी के लिये यह मुमकिन नही कि डेढ़ अरब लोगों को धोखा दे...

हुज़ूर_ﷺ‌_की_विलादत_पर ‏होने_वाले_मोजिज़ात

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*#हुज़ूर_ﷺ‌_की_विलादत_पर*            *#होने_वाले_मोजिज़ात* हज़रत शैख अब्दुल हक़ मुहद्दिस देहलवी رحمتہ اللہ علیہ फरमाते हैं कि:          "आक़ा ए नेमत नूरे मुजस्सम ﷺ‌ की विलादत के सिलसिले में आयातो करामात बेशुमार हैं जिन में से चंद एक ये हैं कि ऐवाने किसरा लरज़ उठा और उसके चौदह कंगूरे गिर गए और दरिया ए सादह खुश्क हो गया और उसका पानी ज़ेरे ज़मीन चला गया और रूद खाना सादह जिसे वादी ए सादह कहते हैं जारी हो गया- हालांकि इससे क़ब्ल उसे मुन्क़तअ हुए एक हज़ार साल गुज़र चुका था और फारसियों का आतिशकदा बुझ गया जो कि एक हज़ार साल से गर्म था-" (مدارج النبوۃ جلد ۲ ص ۲۷) जब हुज़ूर ﷺ‌ पैदा हुए तो अल्लाह तआला ने आपको पाकीज़ा बदन और तेज़ बू कश्तूरी की तरह खुश्बूदार और खत्ना शुदा, नान बरीदा, चेहरा नूरानी, आंखें सुर्मगी दोनों शानो के दरमियान मुहरे नबूवत दरख्शां पैदा फरमाया- (سیرت رسول عربی ص ۳۴) हुज़ूर ﷺ‌ की विलादत पर अल्लाह तआला ने आपकी वालिदा माजिदा पर एक रौशन बादल ज़ाहिर फरमाया कि जिसमें रौशनी के साथ घोड़ों के हिनहिनाने और परिंदों के उड़ने की आवाज़ें ...

हुजुर नबी ए करीम सल्लल्लाहु अलैह व सल्लम के दौ नामे मुबारक

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(हुजुर नबी ए करीम सल्लल्लाहु अलैह व सल्लम के दौ नामे मुबारक ) एक - मुस्तुफा  दौ - मुजतबा  इन दौ नामे मुबारक का लुग्वी मानो मे एक मतलब होता है यानी चुना हुवा - इन्तिखाब ,मुनतखब ,सेलेक्टेड  तो लुगत मे एक ही मतलब है इन दौनो नामो का लेकिन इन नामो कि हकिकत जुदा है  मुस्तुफा लफ्ज़ माद्दा सफु या सफा है और इसी से असतफाअ निकला है जिसका मतलब होता है हर किस्म कि मिलावट से पाक और साफ होना  चुनांचे हुजुर नबी ए करीम सल्लल्लाहु अलैह व सल्लम को अल्लाह ने पैदा फरमाने के लिये और आपके जिस्म ए अतहर को तखलिक फरमाने के लिये उस मिट्टी को चुना जो बिलकुल पाक व साफ और हर मिलावट से पाक थी  इसलिये आपका नाम मुस्तुफा है क्योकि आप का पैकरे बशरी को जब तखलिक किया गया तो आपके जिस्म ए अतहर को हर तरह कि कसाफत से मुसफ्फा रखा गया  और हर एब व कमी से मुज़क्का रखा गया  इसलिये आपके जिस्म से जो पसिना निकलता वो मुश्क से भी ज्यादा खुशबुदार होता  आपके जिस्म पर कभी मक्खी नही बैठती  आपके लुआब ए दहन से पानी मिठा हो जाता  आपकी गुफ्तार इतनी शिरी होता कि दिल चाहता कि बस आप खामोश ना र...

हज़रत मुहम्मद ‎ ‎ﷺ ‏का ‏ ‏ ‎मिलाद ‎

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◆ हज़रत मुहम्मद ﷺ 21 अप्रैल 571 ई. बा-मुताबिक 12 रबी उल अव्वल दिन सोमवार (पीर) को सुबहा 4:45 बजे, मक्का मुकर्रमा में पैदा हुए! ◆ आप ﷺ की कुल ज़ाहिरी ज़िन्दगी 22330 दिन यानी 63 साल 4 दिन आप ﷺ दुनिया में रहे! ◆ आप ﷺ ने 40 साल की उम्र शरीफ में नावुबत का एलान फ़रमाया! ◆ वालिद का नाम अब्दुल्लाह रज़िअल्लाह तआला अन्हु ◆ वालिदा का नाम आमिना रज़िअल्लाह तआला अन्हु  ◆ दादा का नाम अब्दुल मुत्तलिब ◆ दादी का नाम फ़ातिमा बिन्ते आमर ◆ नाना का नाम वहाब ◆ नानी का नाम बर्रा ◆ आप ﷺ की कुल बीबियां 11 थी! ◆ आप ﷺ के 3 बेटे, 4 बेटियां, 14 चाचा, 6 फुफियां, 6 दूध शरीक भाई, 3 दूध शरीक बहने, 3 दामाद, 5 नवासे, 3 नवासियां, 4 मुअज़्ज़िन, 9 पेहरेदार और 40 गुलाम थे! Jis ke Aane se Roshan Zamana hua  Us Nabi ﷺ ki Wiladat pe Lakho Salam